जंघई।मोहर्रम का चांद दिखने के बाद ताजिया बनाकर दसवें दिन जामा मस्जिद जंघई से करबला के लिए हजरत हसन हुसैन की याद मे अकीकदमंदो द्वारा ताजिया जंघई बाजार की विभिन्न भागों से होते हुए शानो शौकत के साथ भारी संख्या मे महिलाओं बच्चों पुरुषों के साथ करबला पहुँचाया गया।इस्लाम धर्म की मान्यता के मुताबिक, हजरत इमाम हुसैन अपने 72 साथियों के साथ मोहर्रम माह के 10 वें दिन कर्बला के मैदान में शहीद हो गए थे। उनकी शहादत और कुर्बानी के तौर पर इस दिन को याद किया जाता है कहा जाता है कि इराक में यजीद नाम का जालिम बादशाह था, जो इंसानियत का दुश्मन था यजीद को अल्लाह पर विश्वास नहीं था यजीद चाहता था कि हजरत इमाम हुसैन भी उनके खेमे में शामिल हो जाएं। हालांकि इमाम साहब को यह मंजूर न था उन्होंने बादशाह यजीद के खिलाफ जंग का ऐलान कर दिया। इस जंग में वह अपने बेटे, घरवाले और अन्य साथियों के साथ शहीद हो गए थे।जंघई मोहर्रम जुलूस में कानून व्यवस्था हेतु चौकी इंचार्ज जंघई सुधीर कुमार पांडेय एवं चौकी समस्त स्टाफ, महिला सिपाही मौजूद रहे। ताजिया जुलूस में सलीम अहमद, वकील अहमद, इकबाल अहमद, लियाकत अली, सिद्दिक अहमद, इदरीस अहमद, इलियास अहमद, अलिम अहमद, मुन्ना पठान, शब्वीर अहमद, शेरु, अखिल, इश्तियाक, शब्बीर आदि लोग मौजूद रहे।